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प्रत्येक काल में मनुष्य के ज्ञान की एक सीमा रही है। अज्ञात क्षेत्र का ज्ञान प्राप्त करने के प्रयास सदैव जारी रहे हैं। प्राचीन भारत में ज्योतिष विज्ञान एक प्रमुख विज्ञान था। लेकिन किसी भी विषय का सामान्य ज्ञान जनसाधारण को न होने की दशा में उस विषय के प्रति जनसामान्य में अनेक भ्रांतियाँ पैदा हो जाती हैं। वैसा ही कुछ ज्योतिष के बारे में भी है। लेकिन ज्योतिष एक पूर्व विज्ञान है। जनसामान्य को ज्योतिष की विज्ञान-सम्मत जानकारी हासिल कराना, यह ज्योतिष के अर्द्धज्ञानी व्यक्तियों की ‘पैसा खींचू मानसिकता’ का शिकार न बने तथा ज्योतिष विज्ञान के वास्तविक लाभ अपने परिवार एवं समाज हेतु प्राप्त हों—यही इस पुस्तक का उद्देश्य है।.
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Astronomy;